बिटकॉइन में निवेश कैसे करें?
बिटकॉइन को ऑनलाइन खरीदते हैं और एक डिजिटल वॉलेट में संग्रहीत करते हैं। डिजिटल वॉलेट एक छोटा व्यक्तिगत डाटाबेस है जिसे आप अपने स्मार्टफ़ोन, कंप्यूटर ड्राइव, टैबलेट, या इंटरनेट में कहीं भी संग्रहीत कर सकते हैं।
भारत में उपलब्ध कई बिटकॉइन एक्सचेंज जैसे- Zebpay, Unocoin , Bitxoxo, Coinbase। आप इनके वेबसाइट पर जा सकते हैं या इनके मोबाइल ऐप को डाउनलोड कर सकते हैं। फिर आप इनमें से किसी एक एक्सचेंज पर ऑनलाइन खाता (बिटकॉइन की वैल्यू डिजिटल वॉलेट ) बना सकते हैं। एक बार डिजिटल वॉलेट बनने पर अपने बैंक के खाते से डिजिटल वॉलेट में पैसा ट्रांसफर कर सकते हैं। फिर आप डिजिटल वॉलेट से बिटकॉइन खरीद और बेच सकते हैं।
पिछले कुछ सालों में बिटकॉइन की कीमत में काफी उतार चढ़ाव चढाव रहा है। एक बिटकॉइन की कीमत 1,000 से 11,70,000 रुपये के बीच उतार चढ़ाव कर रही है। चूंकि एक बिटकॉइन खरीदना काफी महंगा है इसलिए आप 1000 रुपये से निवेश करके बिटकॉइन का एक अंश खरीद सकते हैं। बिटकॉइन विनियमित नहीं हैं तो आपको नकली और वास्तविक बिटकॉइन के बीच भेद में सावधान रहना चाहिए। बिटकॉन्स में व्यापार करने से पहले आपको एक्सचेंज, वॉलेट इत्यादि के बारे में उचित शोध करना चाहिए।
धनबाद: दो हजार से अधिक बिजली बिल बकाया रखने वालों की लाइन काटने का निर्देश
बिलिंग का होगा निरीक्षण, हाई वैल्यू उपभोक्ताओं का शत प्रतिशत विपत्रीकरण
कर्मियों को दिशा निर्देश देते अभियंता मृणाल गौतम
Nirsa : निरसा (Nirsa ) विद्युत कार्यपालक अभियंता मृणाल गौतम ने सोमवार 12 दिसंबर को विद्युत आपूर्ति प्रमंडल कार्यालय में सभी पदाधिकारियों, कर्मचारियों व ऊर्जा मित्रों के साथ राजस्व एवं बिलिंग संबंधी बैठक की. उन्होंने 2000 से अधिक बिजली बिल बकाया रखने वाले उपभोक्ताओं की लाइन काटने अथवा बिजली बिल राशि वसूली करने का निर्देश दिया. ऊर्जा मित्र द्वारा की गयी हर घर की बिलिंग का निरीक्षण करने का निर्देश दिया.
सभी कनीय विद्युत अभियंता से हाई वैल्यू उपभोक्ताओं का शत प्रतिशत विपत्रीकरण 20 दिसंबर से पहले करने का निर्देश दिया. किसी भी हाल में एचटी उपभोक्ताओं को महीने की दस तारीख तक विद्युत विपत्र उपलब्ध कराने का सख्त निर्देश दिया. ऊर्जा मित्र को पूर्ण रूप से बिलिग करने का निर्देश दिया. श्री गौतम ने कहा कि जो ऊर्जा मित्र अपने कार्य में लापरवाही करेंगे, उनपर कार्रवाई की जाएगी. कार्यपालक अभियंता ने अवर प्रमंडल के हिसाब से राजस्व वसूली का लक्ष्य दिया गया. बैठक में सहायक विद्युत अभियंता अभिषेक आनंद एवं सभी कनीय विद्युत अभियंता मौजूद थे.
13 दिसंबर को पेटीएम के BOD की बैठक, शेयर बायबैक पर होगा विचार, शेयरों में लगे पंख
LagatarDesk : डिजिटल फाइनेंशियल सर्विस कंपनी पेटीएम के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स की बैठक 13 दिसंबर को होने वाली है. पेटीएम के शेयर में गिरावट को थामने के लिए कंपनी बड़ा फैसला ले सकती है. रिपोर्ट्स की मानें तो आईपीओ फ्लॉप होने के एक साल बाद कंपनी शेयर बायबैक पर विचार कर सकती है. पेटीएम ने रेग्युलेटरी फाइलिंग में यह जानकारी दी है. अगर बोर्ड में शेयर बायबैक के प्रस्ताव को मंजूरी मिल जाती है तो यह कंपनी का पहला बायबैक होगा. (पढ़ें, दुनिया भर में इस साल अब तक 67 पत्रकार और मीडियाकर्मी मारे जा चुके हैं : आईएफजे
पेटीएम के शेयरों में 7.19 फीसदी का उछाल
फिलहाल पेटीएम के पास करीब 9,182 करोड़ रुपये की लिक्विडिटी है. ऐसे में मौजूदा नगदी और वित्तीय हालात को देखते हुए शेयरहोल्डर्स के लिए शेयर बायबैक फायदेमंद साबित हो सकता है. बायबैक की खबरों के बाद इसके शेयरों में 7.19 फीसदी का उछाल आया है. शेयर की कीमत 544.75 रुपये हो गया है. लेकिन अभी भी यह इश्यू प्राइस से काफी नीचे है.
लिस्टिंग से अबतक निवेशकों को 1.03 लाख करोड़ का नुकसान
पेटीएम का आईपीओ 2021 में लॉन्च हुआ था. लेकिन इसका आईपीओ पिछले एक दशक का सबसे फ्लॉप आईपीओ साबित हुआ. शेयर की लिस्टिंग के बाद से ही गिरावट का सिलसिला जारी है. यह शेयर अब तक अपने इश्यू प्राइस 2150 रुपये प्रति शेयर के स्तर पर नहीं पहुंच सका है. इश्यू प्राइस की तुलना में कंपनी के शेयरों में अब तक 75 फीसदी तक की गिरावट आ चुकी है. आईपीओ से पहले कंपनी का मार्केट कैप 1.39 लाख करोड़ था. जो अब घटकर 35, 370 करोड़ रह गया. इस तरह निवेशकों को 1.03 लाख करोड़ का नुकसान हो चुका है.
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शेयरों की वैल्यू को बढ़ाने के लिए कंपनी करती है बायबैक
जब भी किसी कंपनी को लगता है कि शेयर अपने वैल्यू के नीचे ट्रेड कर रहा है तो कंपनियां शेयर बायबैक करती है. जिससे शेयर में गिरावट को थामने में मदद मिलती है. साथ ही शेयरों में तेजी भी देखी जाती है. बायबैक या शेयर को रिपरचेस करना एक कॉर्पोरेट एक्शन होता है. जिसमें कंपनी अपने शेयर्स को शेयरहोल्डर्स से खरीदती है. बायबैक में कंपनी शेयर्स को मार्केट प्राइस से अधिक में खरीदती है. ताकि कंपनी के शेयरों की वैल्यू बढ़ सके.
दो तरीके से कंपनी करती है शेयर बिटकॉइन की वैल्यू बायबैक
बता दें कि कंपनी दो प्रकार से शेयर बायबैक करती है. पहला टेंडर ऑफर और दूसरा ओपन मार्केट ऑफर. टेंडर ऑफर में कंपनी अपने शेयर्स को एक पर्टिकुलर प्राइस में बायबैक करने के लिए एक ऑफर देती है. जिस पर शेयरहोल्डर्स अपने शेयर बेच सकते हैं. वहीं ओपन-मार्केट ऑफर में कंपनी अपने शेयर्स एक्सचेंज के सेलर्स से खरीद सकती है. बायबैक पीरियड बायबैक ऑफर में दिया गया होता है और यह महीनों तक चलता है. ताकि ज्यादा खरीद से शेयर्स के प्राइस में ज्यादा उतार-चढाव ना आये.
Bitcoin और Ether में तेजी बरकरार, क्रिप्टो मार्केट में 3 प्रतिशत का उछाल
क्रिप्टो मार्केट में इस सप्ताह वोलैटिलिटी के बावजूद अधिकतर क्रिप्टोकरेंसीज में तेजी रही है। मार्केट कैपिटलाइजेशन के लिहाज से सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी Bitcoin का प्राइस बुधवार को लगभग 3.70 प्रतिशत की बढ़त के साथ 17,783 डॉलर पर खुला। पिछले एक दिन में बिटकॉइन की वैल्यू 660 डॉलर से अधिक बढ़ी है।
दूसरी सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी Ether में भी 3.53 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई। Gadgets 360 के क्रिप्टो प्राइस ट्रैकर के अनुसार, इसका प्राइस 1,318 डॉलर पर था। इसके अलावा ज्यादातर ऑल्टकॉइन्स के प्राइस भी बढ़े हैं। इनमें Binance Coin, Ripple, Binance USD, Cardano, Polygon और Polkadot शामिल हैं। CoinDCX की रिसर्च टीम ने बताया, “अमेरिका के फेडरल रिजर्व के इंटरेस्ट रेट में बढ़ोतरी को 0.75 प्रतिशत के बजाय 0.50 प्रतिशत रखने की संभावना है। इन्फ्लेशन में भी आगामी महीनों में कमी हो सकती है। सप्लाई चेन्स की स्थिति बेहतर होने से इन्फ्लेशन कम होने का अनुमान है।”
पिछले एक दिन में क्रिप्टो मार्केट का कैपिटलाइजेशन लगभग तीन प्रतिशत बढ़ा है। CoinMarketCap के अनुसार, यह 871.65 अरब डॉलर पर है। बड़े क्रिप्टो एक्सचेंजों में शामिल FTX के बैंकरप्ट होने से इस मार्केट में बिकवाली बढ़ी थी। FTX के फाउंडर ने गोपनीय तरीके से कस्टमर्स के लगभग बिटकॉइन की वैल्यू 10 अरब डॉलर को अपनी ट्रेडिंग फर्म Alameda Research में ट्रांसफर किया था। इस फंड का बड़ा हिस्सा गायब हो चुका है। मीमकॉइन्स Shiba Inu और Dogecoin में भी तेजी आई है। Shiba Inu का प्राइस 4.30 प्रतिशत से अधिक बढ़कर 0.0000092 डॉलर और Dogecoin का 1.78 प्रतिशत बढ़कर 0.091 डॉलर पर था। इसके अलावा कुछ ऑल्टकॉइन्स में गिरावट रही। इनमें Tether, USD Coin, Elrond और Iota शामिल हैं।
बिटकॉइन ने पिछले वर्ष नवंबर में 67,000 डॉलर से अधिक का हाई छुआ था। इसके बाद से स्लोडाउन और कुछ अन्य कारणों से इसके प्राइस में काफी गिरावट आई है। इससे इनवेस्टर्स के साथ ही क्रिप्टो सेगमेंट से जुड़ी फर्मों को बड़ा नुकसान हुआ है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि क्रिप्टो मार्केट में काफी बिकवाली हुई है। इन्फ्लेशन के भी लगभग पीक पर पहुंचने के संकेत हैं। इससे अमेरिकी फेडरल रिजर्व सहित अन्य देशों के सेंट्रल बैंकों की ओर से मॉनेटरी पॉलिसी में कुछ छूट दी जा सकती है। यह तेजी का अगला कारण हो सकता है।
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