नई दिल्ली: ग्राहकों के लिहाज से देश की सबसे बड़ी ब्रोकरेज फर्म जीरोधा के संस्थापक नितिन कामत ने शेयर बाजार में ट्रेड करने वालों को एक बहुत जरूरी सलाह दी है. नितिन कामत ने शेयर बाजार के ट्रेडर से कहा है कि उन्हें रात भर जग कर अमेरिकी शेयर बाजार को ट्रैक करने की कोई आवश्यकता नहीं है. उन्होंने कहा है कि इसकी जगह ट्रेडर अगर रात को चैन से सोएं तो वे दिन में एक्टिव ज़ेरोधा ट्रेडिंग का समय क्या है? तरीके से भारत के शेयर बाजार में ट्रेडिंग कर सकते हैं.

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नितिन कामत ने कहा है कि अमेरिकी शेयर बाजार को ट्रैक करने से भारत में शेyरों की खरीद-फरोख्त या होल्ड करने में कोई फायदा होने वाला नहीं है. नितिन ने कहा है कि पिछले कुछ समय में भारत का शेयर बाजार अमेरिकी शेयर बाजार से अलग चाल चल रहा है, इसलिए अगर कोई ट्रेडर रात भर जग कर अमेरिकी शेयर बाजार को ट्रैक करता है तो उससे उसे यहां फायदा मिलने की उम्मीद नहीं है.

ज़ेरोधा ट्रेडिंग का समय क्या है?

क्या आप भी ज़ेरोधा में, ट्रेड करते समय TOTP (Time-Based One-Time Password) वाले संदेशों से परेशान हैं ? अगर हाँ, तो यह लेख आपके लिए है। इस लेख में हम आपको बताएंगे की ज़ेरोधा में TOTP क्या होता है और कैसे यह आपको डीमैट अकाउंट को सुरक्षित रखने के लिए जरूरी है।

जैसे कि बताया गया है कि TOTP का पूरा नाम Time-Based One-Time Password है और ये आपके मोबाइल फ़ोन से किसी भी अप्लीकेशन जैसे कि Google Authenticator and Microsoft Authenticator कि सहायता से बनाया जा सकता है या यह कहें की लागू किया जा सकता है।

यह SMS और Email द्वारा भेजे गए OTP से बहुत अलग है। ये समय आधारित ओटीपी है जो हर 30 सेकंड के लिए ही उत्पन्न होता है और उसके बाद फिर 30 सेकंड के बाद ही उत्पन्न होता है। ज़ेरोधा द्वारा यह अब जरुरी कर दिया गया है ताकि आप के ज़ेरोधा खाते को किसी भी बाहरी रिस्क या धोखाधड़ी से बचाया जा सके।

ज़ेरोधा में TOTP कैसे सेट करे?

नई तकनीकों और ट्रेडिंग एप्प्स की सहायता से ट्रेडिंग करना अब बहुत सरल हो गया है। लेकिन वही दूसरी ओर धोखेबाज़ों और जालसाजों के लिए लोगों को ठगने के रास्ते खोल दिए हैं, ज़ेरोधा ट्रेडिंग का समय क्या है? इसीलिए अपने अकाउंट को सुरक्षित और अनुचित लोगों से बचाने के लिए TOTP (Time-Based One-Time Password) का उपयोग करना जरूरी हो जाता हैं।

ज़ेरोधा में TOTP क्या होता है, इस जानकारी को प्राप्त करने के बाद आइये जानते है की TOTP को सेट कैसे किया जाए:

  • सबसे पहले अपनी जरोधा काइट (KITE ) एप्लीकेशन की मदद से अपने जरोधा खाते में लॉगिन करें।
  • अपनी प्रोफाइल पर जाएँ और पासवर्ड सिक्योरिटी के दाएं तरफ मैनेज ऑप्शन पर क्लिक करें।
  • नीचे को स्क्रॉल करते हुए Enable 2FactorTOTP सेटअप पर क्लिक करें।
  • आप अपने दी गयी ईमेल पर एक OTP प्राप्त करेंगे और उसे OTP को एंटर करें ।

How to Enable TOTP in Zerodha

  • Google Authenticator ऐप को इंस्टाल करें।
  • उसमें स्कैन करने वाली ऑप्शन को खोल कर स्कैन करें और दिया गया कोड भ रें।
  • जब आप कोड भर देते हो तो आप को TOTP शुरू हो चूका है का सन्देश (नोटिफ़िकेशन) प्राप्त होता है
  • तो इस तरह से हम अपने जरोधा खाते में TOTP की सुविधा को शुरू कर सकतें हैं। और इसके बाद आप को जब भी अपना जरोधा खाते को खोलने से पहले आप को ये TOTP पिन डालना पड़ेगा ।

How to Enable TOTP in Zerodha

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What is Zerodha Kill Switch? – Zerodha किल स्विच क्या है

what-is-zerodha-kill-switch

What is Zerodha Kill Switch उस समय काम आता है जब Stock Market में सक्रिय रूप से Trading करते वक़्त Over-Trading बहुत बड़ा खतरा है। जब बाजार में गिरावट आती है, तो profit कमाने की तुलना में averages trades की संख्या अधिक होती है। अच्छे Trader आमतौर पर अपने Trade Size (quantity size) को काफी कम कर देते हैं या गिरावट के समय में Trading बंद कर देते हैं। आक्रामक होना या अधिक Trading शायद ही कभी काम करता है।

देश की सबसे बड़ी Brokerage company Zerodha ने अपनी Kite App पर “Kill Switch” का नया फीचर जोड़ा है। इससे यूजर्स को ओवर ट्रेडिंग से बचने में मदद मिलेगी। इसके साथ Zerodha ने Kite app पर चेतावनियां और सुझाव भी शामिल किए हैं जो retail traders के लिए trading के दौरान profit की संभावना को बढ़ा सकते हैं। Zerodha के Founder और CEO, नितिन कामत ने Tweet के जरिए कहा, कि जब आप ट्रेडिंग के दौरान अधिक loss में होते हैं तो कुछ देर के लिए रुकना बेहतर होता है।और ऐसा न करने पर गलत और बड़े दांव लगाने की आशंका होती है।

हाल ही Zerodha ने over-trading के risk को कम करने के लिए Kill Switch नामक विकल्प को एक नज (Nudge) के रूप में जोड़ा है। यदि आप नुकसान कर रहे हैं, तो Zerodha की यह नई सुविधा आपको kite app पर एक या एक से अधिक सेगमेंट में trading को तुरंत cancel करने की अनुमति देता है, इससे आपको अपना Risk Management करने में मदद मिलेगी। तो आइये जानते हैं के What is Zerodha Kill Switch कैसे काम करता है?

Zerodha किल स्विच क्या है? (What Is Zerodha Kill Switch) :

यदि आप किसी Special Segment को Deactivate करना चाहते हैं या थोड़े समय के लिए trading बंद करना चाहते हैं, तो आप kite app पर Kill Switch सुविधा का उपयोग करके, उस Segment को अस्थायी रूप से कुछ समय के लिए बंद कर सकते हैं। किसी सेगमेंट के बंद (close) या cancel हो जाने पर, ज़ेरोधा ट्रेडिंग का समय क्या है? आप उसे 12 घंटों के बाद ही पुनः प्रारम्भ कर सकते हैं, इससे पहले आप इसको प्रारंभ नहीं कर सकते हैं ।

किसी Segment को रोकने या निष्क्रिय करने के लिए :

Console पर खाता अनुभाग में Login करें और उस Segment को चुनें जिसे deactivate करना चाहते हैं। यह आपके Open order या स्थिति की जाँच करेगा। किसी भी Open Order या स्थिति के अभाव में, Segment 5 मिनट में ही निष्क्रिय (stop) कर दिया जाता है।

अभी यह विकल्प मैनुअल है किन्तु कंपनी इसे ऑटोमैटिकली ट्रिगर करने पर काम कर रही है। ताकि लोगों को होने वाले बड़े नुकसान से बचाया जा सके।

Deactivate सेगमेंट को Activate करने के लिए :

एक बार निष्क्रिय(stop) होने पर, आप उसी विकल्प का प्रयोग करके इसे 12 घंटे में वापस active कर सकते हैं। आप Button को Change कर सकते हैं और Segment के active होने की पुष्टि कर, आप फिर से Trading शुरू कर सकते हैं।

ध्यान दें कि किसी Segment को निष्क्रिय करने से पहले आपको सभी Open conditions से बाहर निकलना होगा और सभी Open Orders को रद्द करना होगा। Zerodha Kill Switch Trading में लालच या कैपिटल डूब जाने के भय से चिंता के कारण बड़े Risk से बचने में आपकी मदद करेगा।

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जीटीटी/बास्केट ऑर्डर, एसआईपी ऑर्डर का क्या होगा?

एक बार GTT चालू हो जाने पर, यदि Segment deactivate है, तो आपके सारे Order अस्वीकार कर दिए जायेंगे। यही Basket Order और trigger होने वाले SIP पर भी लागू होगा।

Note:- किसी Segment को deactivate कर देने पर भी आपका डीमैट खाता खुला रहता है। इसलिए, डीमैट खाते पर लागू होने वाला Charge लागू किया जाएगा।

हमने अपनी तरफ से What is Zerodha Kill Switch? के बारे में बहुत ही विस्तृत जानकारी आपको प्रदान करने की कोशिश की है और हम उम्मीद करते हैं कि ये आर्टिकल आपको पसंद आया होगा। ऐसी ही Financial जानकारी के लिए हमारे Blog Finance Connexion को फॉलो करें।

Bajaj Finserv ने दिए एक के बदले 10 शेयर, रॉकेट बना Stock, Zerodha बॉस ने बताई बड़ी बात

बजाज फिनसर्व ने अप्रैल-जून तिमाही जारी करते हुए 1:5 के अनुपात में स्टॉक स्प्लिट करने और 1:1 के अनुपात में बोनस जारी करने का भी ऐलान किया था. दरअसल किसी स्टॉक की वैल्यू ज्यादा होने पर उसमें ट्रेडिंग कम होती है. किसी भी शेयर का भाव ज्यादा रहेगा तो जाहिर है कि उसे कम ही लोग खरीदेंगे. कंपनियां इस स्थिति को दूर करने के लिए स्टॉक को स्प्लिट कर देती हैं.

स्टॉक स्प्लिट से पहले आई रैली

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 13 सितंबर 2022,
  • (अपडेटेड 13 सितंबर 2022, 7:34 PM IST)

वित्तीय सेवाएं देने वाली कंपनी बजाज फिनसर्व (Bajaj Finserv) के शेयर में मंगलवार के कारोबार के दौरान जबरदस्त रैली देखने को मिली. एक समय ज़ेरोधा ट्रेडिंग का समय क्या है? यह स्टॉक बीएसई (BSE) पर करीब 06 फीसदी की छलांग लगाकर 1846 रुपये तक पहुंच गया था. दरअसल इसका कारण बजाज फिनसर्व के शेयरों के स्प्लिट (Bajaj Finserv Stock Split) और बोनस (Bajaj Finserv Stock Bonus) की तारीख का नजदीक आना है. बजाज फिनसर्व के शेयरों के स्प्लिट और बोनस के ज़ेरोधा ट्रेडिंग का समय क्या है? लिए 14 सितंबर को रिकॉर्ड डेट तय किया गया है. इससे ठीक एक दिन पहले आज इसी कारण बजाज फिनसर्व के शेयरों की जमकर ट्रेडिंग हुई है.

स्प्लिट होने के बाद बजाज फिनसर्व का क्या

बजाज फिनसर्व ने अप्रैल-जून तिमाही जारी करते हुए 1:5 के अनुपात में स्टॉक स्प्लिट करने और 1:1 के अनुपात में बोनस जारी करने का भी ऐलान किया था. दरअसल किसी स्टॉक की वैल्यू ज्यादा होने पर उसमें ट्रेडिंग कम होती है. किसी भी शेयर का भाव ज्यादा रहेगा तो जाहिर है कि उसे कम ही लोग खरीदेंगे. कंपनियां इस स्थिति को दूर करने के लिए स्टॉक को स्प्लिट कर देती हैं. उदाहरण के लिए मान लीजिए कि अभी बजाज फिनसर्व के एक शेयर का भाव 1800 रुपये है. अब अगर इसे 1:5 के अनुपात में स्प्लिट किया जाएगा तो एक शेयर की वैल्यू महज 360 रुपये रह जाएगी. वैल्यू कम हो जाने से अब ज्यादा इन्वेस्टर इसे खरीद पाएंगे.

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एक से बढ़कर एक रॉकेट बनाती है कंपनी, एक साल से शेयर भी बना रॉकेट!

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स्टॉक स्प्लिट या बोनस से क्या होता है

स्टॉक को स्प्लिट करने से कंपनी के मार्केट कैप (Bajaj Finserv MCap) या किसी भी अन्य फंडामेंटल्स पर कोई असर नहीं होता है. इससे बस इतना फर्क पड़ता है कि बाजार में उस शेयर के यूनिट बढ़ जाते हैं और प्रति यूनिट भाव कम हो जाता है. इसी तरह जब कोई कंपनी अपने शेयरहोल्डर्स को डिविडेंड (Dividend) देने से बचना चाहती है तो ऐसे में बोनस जारी करने का विकल्प चुना जाता है. इससे भी कंपनी की वैल्यूएशन या फंडामेंटल्स पर कोई असर नहीं होता है.

नितिन कामथ ने दिया ये उदाहरण

डिस्काउंट ब्रोकिंग कंपनी जीरोधा के को-फाउंडर नितिन कामथ (Zerodha Co-Founder Nithin Kamath) ने भी इस बारे में इन्वेस्टर्स को जानकारी दी है. उन्होंने कहा कि जब कोई कंपनी स्टॉक स्प्लिट करने या बोनस जारी करने का ऐलान करती है तो इन्वेस्टर्स या तो घबरा जाते हैं या उनके मन में लालच आ जाता है. उन्होंने उदाहरण देकर समझाया है कि स्टॉक स्प्लिट करने का मतलब है, अभी आपके पास 100 ग्राम की एक चॉकलेट है और कल से आपके पास 50-50 ग्राम के दो चॉकलेट होंगे.

जेरोधा का हिन्दी में ट्रेडिंग प्लेटफार्म

नई दिल्ली: निजी क्षेत्र की ऑनलाइन ब्रोकरेज फर्म जेरोधा ने युवाओं को पूंजी बाजार की तरफ आकॢषत करने के लिए सभी तरह के इक्विटी निवेश पर शून्य ब्रोकरेज की घोषणा की है साथ ही वैब आधारित ट्रेडिंग पोर्टल ‘काइट’ की हिन्दी में भी शुरूआत की घोषणा की है। ‘काइट’ पंजाबी, कन्नड़, मलयालम और गुजराती में भी उपलब्ध है।

ब्रोकरेज फर्म ने नई पेशकश करते हुए कहा है कि कम्पनी का इरादा 50 लाख निवेशकों को अपने साथ जोडऩे का है। निवेश संस्कृति को निखारने की जरूरत है। इसके लिए हमने न केवल शून्य ब्रोकरेज की शुरुआत की है बल्कि काइट को हिन्दी में उपयोगकर्ता के लिए बेहतर और आसान बनाना चाहतें हैं।

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Zerodha: नितिन कामत ने क्यों ट्रेडर्स को दी रात में चैन से सोने की सलाह, अमेरिकी बाजार को ट्रैक करने से फायदा नहीं

zerodha के नितिन कामत ने कहा है कि इसकी जगह ट्रेडर अगर रात को चैन से सोएं तो वे दिन में एक्टिव तरीके से भारत के शेयर बाजार में ट्रेडिंग कर सकते हैं.

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नितिन कामत ने शेयर बाजार के ट्रेडर से कहा है कि उन्हें रात भर जग कर अमेरिकी शेयर बाजार को ट्रैक करने की कोई आवश्यकता नहीं है.

नई दिल्ली: ग्राहकों के लिहाज से देश की सबसे बड़ी ब्रोकरेज फर्म जीरोधा के संस्थापक नितिन कामत ने शेयर बाजार में ट्रेड करने वालों को एक बहुत जरूरी सलाह दी है. नितिन कामत ने शेयर बाजार के ट्रेडर से कहा है कि उन्हें रात भर जग कर अमेरिकी शेयर बाजार को ट्रैक करने की कोई आवश्यकता नहीं है. उन्होंने कहा है कि इसकी जगह ट्रेडर अगर रात को चैन से सोएं तो वे दिन में एक्टिव तरीके से भारत के शेयर बाजार में ट्रेडिंग कर सकते हैं.

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नितिन कामत ने कहा है कि अमेरिकी शेयर बाजार को ट्रैक करने से भारत में शेyरों की खरीद-फरोख्त या होल्ड करने में कोई फायदा होने वाला नहीं है. नितिन ने कहा है कि पिछले कुछ समय में भारत का शेयर बाजार अमेरिकी शेयर बाजार से अलग चाल चल रहा है, इसलिए अगर कोई ट्रेडर रात भर जग कर अमेरिकी शेयर बाजार को ट्रैक करता है तो उससे उसे यहां फायदा मिलने की उम्मीद नहीं है.


भारत और अमेरिकी शेयर बाजार के बीच सबसे बड़ा अंतर यह है कि अमेरिकी शेयर बाजार में दुनिया के किसी हिस्से में कामकाज करने वाली कंपनी लिस्ट हो सकती है. वहां सिर्फ अमेरिका में कामकाज कर रही कंपनी की ही लिस्टिंग नहीं की जाती. अमेरिकी शेयर बाजार के सूचकांक में दुनिया के अलग-अलग देशों की अलग-अलग कारोबार की कंपनियां लिस्ट की जा सकती है.

जहां तक भारत के शेयर बाजार का सवाल है तो भारत के शेयर बाजार में भारतीय कंपनियों की प्रमुखता है. इस वजह से भारत का शेयर बाजार अमेरिकी शेयर बाजार की तुलना में कम उतार-चढ़ाव दर्ज करने वाला है. भारत के शेयर बाजार में सभी ट्रांजैक्शन और निवेश रुपए में किए जाते हैं, इस तरह अमेरिकी शेयर बाजार में कारोबार अमेरिकी डॉलर में किया जाता है.

अमेरिकी शेयर बाजार भारत की तुलना में मजबूत माना जाता है. भारत की तुलना में यूएस स्टॉक मार्केट कम उतार-चढ़ाव भरा है. भारत में शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव अधिक होता है.

भारत के निवेशकों में अमेरिकी शेयर बाजार के लिए दीवानगी देखी जाती है. अमेरिकी शेयर बाजार में दुनिया की कई कंपनियां लिस्ट होती है. भारत में बीएसई सेंसेक्स को शेयर बाजार के प्रतीक के रूप में जाना जाता है उसी तरह अमेरिका में डाउ जॉन्स इंडस्ट्रियल एवरेज है.

पिछले 10 सालों में भारत और अमेरिकी शेयर बाजार में एक तरह का ही रिटर्न निवेशकों को दिया है. अमेरिकी शेयर बाजार का सालाना रिटर्न 9.75% रहा है जबकि भारत के शेयर बाजार का सालाना रिटर्न 9.7% रहा है. पिछले कुछ समय में भारत के शेयर बाजार का अमेरिकी शेयर बाजार से लिंक टूट रहा है.

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